आशुतोष तिवारी/रीवा: हमारे देश में धर्म को मानने वाले लोग अपने ऐतिहासिक और पौराणिक परंपराओं पर न सिर्फ आस्था रखते हैं बल्कि इन परंपराओं को हमेशा मानते है. फिर चाहे वो परम्परा किसी त्योहार को लेकर हो या धार्मिक अनुष्ठान के हो. ठीक इसी तरह दीपावली में धन की देवी लक्ष्मी और बुद्धि के देवता श्री गणेश की पूजा अर्चना विधि विधान के साथ की जाती है.
इन्हीं पौराणिक मान्यताओं के अनुसार कुछ ऐसे कार्य भी हैं जिसे दीपावली और धनतेरस के अवसर पर नहीं करना चाहिए. आचार्य शिवम शुक्ला ने आज फास्ट न्यूज़ आस्था में कहा कि यह पर्व न सिर्फ उत्साह और उमंग का है बल्कि इस पर्व में भारतवासी मां लक्ष्मी और भगवान गणेश की आराधना करते है.इसलिए उन्हें खुश करने के लिए कुछ कार्य करने पड़ते है.दिवाली धनतेरस के दिन नहीं करना चाहिए ये कार्य
1.धनतेरस या दिवाली के दिन दलोहा या लोहे से बनी वस्तुएं घर लाना शुभ नहीं माना जाता है. आचार्य शिवम शुक्ला बताते है कि धनतेरस के दिन लोहे को घर लाने पर घर में दुर्भाग्य का प्रवेश हो जाता है और ये शुभ फल नहीं देता है.
2. धनतेरस और दिवाली पर एल्युमिनियम और स्टील की खरीदी नहीं करनी चाहिए, मान्यता है कि स्टील या एल्युमिनियम से बने बर्तन या अन्य कोई सामान खरीदना शुभ नहीं माना जाता बल्कि इस दिन सोना,चांदी, मोती,पीतल और तांबा खरीदना शुभता का प्रतीक माना जाता है.
3. धनतेरस और दिवाली के दिन झाड़ू का काफी महत्व होता. लेकिन उस समय यह ध्यान रखना चाहिए की झाड़ू में पैर न लगने पाए. और झाड़ू को ऐसी जगह में ना रखें जहां सब की नजर पहुंचे. घर में झाड़ू को छिपा कर रखना चाहिए. और झाड़ू खरीदने के बाद घर के किसी और स्थान में साफ सफाई करने से पहले मंदिर में ही साफ सफाई करनी चाहिए.
4. दीपावली और धनतेरस के दिन पुराने और फटे कपड़े कभी नहीं पहनना चाहिए.ऐसा करना शुभ नहीं माना जाता है. बल्कि पुराने कपड़ों का दान करना चाहिए.
5. दीपावली और धनतेरस के दिन कोयला या राख को नहीं उठाना चाहिए. और न ही उसे छूना चाहिए. दिवाली और धनतेरस से पहले ही ये कार्य कर लेने चाहिए.
6. दीपावली और धनतेरस के दिन पूजा करते समय नए आसन में ही बैठना चाहिए.और यह भी ध्यान देना चाहिए कि आसान कुशा का हो. इससे व्यक्ति की शुद्धता बनी रहती है. शास्त्रों और पुजारी के अनुसार पूजा पाठ और विशेष अनुष्ठान में पुराने आसन का इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए.
7.अगर हो सके तो इस बात का भी ध्यान रखना चाहिए कि स्पर्म के दिन शुद्ध सात्विक भोजन करना चाहिए और प्रयास करना चाहिए कि उसमें लहसुन और प्याज ना हो और भोजन जरा भी तामसिक ना हो इसके अलावा इस दिन मांस मदिरा का प्रयोग भी नहीं करना चाहिए
8. दीपावली के दिन भूलकर भी जुआ नहीं खेलना चाहिए. ऐसी मान्यता है की जुआ खेलते समय इंसान अपने धन को ही दाव में लगता है. और हमारे शास्त्रों के अनुसार धन को लक्ष्मी माता का रूप माना जाता है. इसलिए व्यक्ति को जुआ में अपने माता स्वरूप को दाव पर नहीं लगना चाहिए. वैसे तो जुआ कभी नहीं खेलना चाहिए लेकिन जिस दिन धन की देवी लक्ष्मी की आराधना होती है उस दिन तो भूल कर भी यह गलती नहीं करनी चाहिए.